13.12.09

कुछ लोग

बोलना बंद कीजे लोगों से
लोग तो कुछ भी बोल देते हैं

जो गिरहें बांधने में सालों लगें
उन को मिनटों में खोल देते हैं

बात सीधी करो भले कितनी
जवाब गोल मोल देते हैं

रिश्ते यूं जोडते हैं कुछ हजरत
जैसे सीरियल में रोल देते हैं

1 comment:

Unknown said...

bahut din ke baad kuch seedha sa padha. acha laga